तुम रख लो वो निशानी हूं मैं समंदर का गहरा पानी हूं मैं... ख्वाबों में खोई दीवानी हूं मैं कविताओं की अपनी जुबानी हूं मैं तुम कर दो वो नादानी हूं मैं... मोहब्बत सी रूहानी हूं मैं समझ से परे अनजानी हूं मैं... कुछ पन्नों की कहानी हूं मैं
तुम रख लो वो निशानी हूं मैं समंदर का गहरा पानी हूं मैं... ख्वाबों में खोई दीवानी हूं मैं कविताओं की अपनी जुबानी हूं मैं तुम कर दो वो नादानी हूं मैं... मोहब्बत सी रूहानी हूं मैं समझ से परे अनजानी हूं मैं... कुछ पन्नों की कहानी हूं मैं
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